
“LinkedIn, जो कभी नेटवर्किंग का प्रतीक था, अब AI धोखेबाजों की पसंदीदा शिकारगाह बनता जा रहा है।”
2024 में भारत में कई पेशेवरों ने फर्जी नौकरी प्रस्तावों के शिकार होने की शिकायतें कीं, जो खासतौर पर LinkedIn पर उनके प्रोफेशनल प्रोफाइल से डेटा निकालकर बनाए गए थे।
🎯 फ्रॉड कैसे काम करता है? – शातिर चालें
- Data Scraping: LinkedIn से यूज़र की जॉब प्रोफाइल, स्किल्स, एजुकेशन, लोकेशन और ईमेल जैसी जानकारियाँ चोरी कर ली जाती हैं।
- AI Drafting: AI टूल्स (जैसे ChatGPT या Jasper) का इस्तेमाल करके एकदम पेशेवर और आकर्षक जॉब ऑफर तैयार किया जाता है।
- Fake Domain Setup: स्कैमर “@meta-careers.com” जैसे दिखने वाले डोमेन से मेल भेजते हैं, जिससे पीड़ित को लगता है कि ये Facebook या Meta जैसी कंपनियों की तरफ़ से आया है।
- Call to Action: मेल में लिंक होता है जो फर्जी लॉगिन पेज या ‘HR Interview’ पोर्टल की तरह दिखता है।
- Phishing या Credential Theft: जैसे ही व्यक्ति लिंक पर क्लिक करता है, उसकी लॉगिन आईडी, पासवर्ड और कभी-कभी बैंक जानकारी चुरा ली जाती है।
📌 एक वास्तविक मामला – पत्रकार को Meta में ‘Director’ बनाने की स्कीम

एक दिल्ली की पत्रकार Divya Bhaskar (काल्पनिक नाम) को एक मेल मिला:
“Dear Divya,
At Messenger, we’re looking for a Social Media Director with strategic storytelling skills…”
मेल में उसके स्किल्स का ज़िक्र था – “digital storytelling, campaign planning, AI integration”—जो उसकी LinkedIn प्रोफाइल से लिए गए थे।
भेजने वाले का नाम था Lou Zumpano – Head of Recruitment – Messenger।
मेल पूरी तरह से पेशेवर भाषा में था, जॉब रोल, जिम्मेदारियाँ और कॉल टाइम भी तय था। लेकिन…
📉 डोमेन था: @messenger-careers.net
, ना कि @meta.com
— यहीं से स्कैम की पोल खुलती है।
🔍 Reddit और X (पूर्व में Twitter) पर सैकड़ों यूज़र्स के अनुभव
- भारत, सर्बिया, यूएस और UK से कई लोगों ने ऐसे ही मेल मिलने की बात Reddit पर साझा की।
- एक भारतीय यूज़र ने जैसे ही लिंक पर क्लिक किया, उसे Facebook का डुप्लीकेट लॉगिन पेज मिला।
- कुछ लोगों ने पासवर्ड भर दिया और बाद में महसूस किया कि उनका अकाउंट हैक हो चुका है।
📊 LinkedIn फ्रॉड से जुड़े भारत के आंकड़े
- 2023 में LinkedIn फ्रॉड से जुड़े 1,270 से ज़्यादा शिकायतें केवल CERT-In (Computer Emergency Response Team India) को मिलीं।
- NASSCOM की रिपोर्ट के अनुसार, AI-generated fake jobs भारत में सबसे तेजी से बढ़ती साइबर क्राइम कैटेगरी है।
- Hyderabad Cyber Crime Cell ने फरवरी 2024 में LinkedIn जॉब स्कैम से जुड़े एक गिरोह को पकड़ा, जो ₹85 लाख की ठगी कर चुका था।
⚠️ कैसे बचें? – एक सतर्कता गाइड
खतरा | पहचान | समाधान |
---|---|---|
✉️ Fake Job Offer | ऑफिशियल डोमेन से मेल नहीं | मेल डोमेन जांचें (e.g. @meta.com ) |
📄 Over-detailed Job Description | बहुत ही फिट जॉब और भूमिका | खुद से संपर्क करने वाली कंपनियों पर शक करें |
🔗 Dubious Link | Link shortened या third-party | Link ना खोलें, Google पर कंपनी का जॉब पेज खोजें |
⏳ Urgency | तुरंत प्रतिक्रिया मांगी जाए | जल्दीबाज़ी में कोई निर्णय न लें |
🤖 AI और LinkedIn—भविष्य या फंदा?
जहाँ एक ओर LinkedIn ने पेशेवरों को ग्लोबल अवसर दिए, वहीं अब यह AI-powered scammers के लिए goldmine बन चुका है। जब कोई स्कैमर आपके प्रोफेशनल सपनों का नकली खाका तैयार करता है, तब आपको पहचानना होता है कि “क्या ये सपना असल है या भ्रम?”
✅ सरकार और संस्थानों की भूमिका
- LinkedIn को ज़िम्मेदारी निभानी होगी: प्रोफाइल scraping रोकना, suspicious recruiters को फ़्लैग करना।
- CERT-In और NASSCOM को संयुक्त रूप से जॉब-फ्रॉड ट्रैकर प्लेटफॉर्म बनाना चाहिए।
- कॉलेजों में जागरूकता वर्कशॉप्स जहां हर छात्र को बताया जाए:
“जॉब ऑफर लिंक नहीं, रिसर्च से मिलता है”।
🙏 निष्कर्ष – आपकी पहचान, आपकी ज़िम्मेदारी
LinkedIn जैसे प्लेटफॉर्म पर आपको skill दिखाना है, लेकिन अपने identity की सुरक्षा भी करनी है।
AI अब केवल रोबोट नहीं—यह फ्रॉडस्टर्स का सबसे बड़ा हथियार बन चुका है।
“जहाँ सवाल उठने बंद हो जाएं, वहीं से धोखाधड़ी शुरू होती है।”
इसलिए सवाल उठाइए।
“अगर स्क्रीन चमक रही है, तो ज़रूरी नहीं कि सच्चाई भी चमक रही हो।”