नई दिल्ली, 10 जून 2025: बिजली और शहरी कार्य मंत्री मनोहर लाल खट्टर ने मंगलवार को देश में एयर कंडीशनर (AC) के तापमान को लेकर एक ऐतिहासिक निर्णय की जानकारी दी। अब से नए AC में सेट करने का न्यूनतम तापमान 20°C, और अधिकतम तापमान 28°C रखा जाएगा, जो पहले की सीमा (16–18°C से 30°C तक) से काफी अलग है ।
🏭 ऊर्जा बचत और बिलों में बड़ी राहत
यह कदम बिजली बचत और ऊर्जा दक्षता को बढ़ावा देने की दिशा में उठाया गया है। अनुमान है कि आने वाले तीन वर्षों में इससे 18,000–20,000 करोड़ रुपये की बचत हो सकती है । प्रत्येक डिग्री नीचे जाने से ऊर्जा की खपत करीब 6% तक बढ़ जाती है, इसलिए इस कदम से बिजली की खपत में कमी और वार्षिक बिजली बिलों पर सीधा असर होगा।
🚗 घरों से कारों तक—हर जगह लागू होगा
खट्टर ने स्पष्ट किया कि यह नियम सिर्फ घरों और ऑफिसों के लिए नहीं, बल्कि वाहनों के AC सिस्टम पर भी लागू होगा । गर्मियों के बीच जहाँ ‘ठंडे में ठंडा’ करने की होड़ थी, अब उसका भी अंत हो गया है।
🌍 जलवायु व पारिस्थितिकी में सकारात्मक संकेत
- यह पहल ऊर्जा की प्रति डिग्री बचत, ग्रीनहाउस गैसों में कटौती, और जलवायु‐বন্ধु व्यवहार की दिशा में एक उल्लेखनीय क़दम है।
- इससे बिजली की मांग कम होगी, ग्रिड पर दबाव घटेगा, और पर्यावरण को फायदा होगा।
यह सिर्फ एक नियम नहीं, ये एक चेतना है — अपना AC सेटिंग एक मंत्र, बजट और धरती दोनों के लिए।”
खट्टर ने इसे “first-of-its-kind experiment” बताया, जो लंबी सोच का संकेत देता है
🧩 क्या आगे होगा?
- नोटिफिकेशन प्रक्रिया: जल्द AC निर्माताओं को नए मानदंडों के अनुसार मॉडल लॉन्च करने के निर्देश मिलेंगे।
- मॉनिटरिंग और रिपोर्टिंग: सरकार और बीईई तापमान सीमा के अनुपालन को नियमित रूप से मॉनिटर करेंगे।
- उपभोक्ता जागरूकता: आने वाले महीनों में इस नए नियम और ऊर्जा बचत के सोशल मीडिया और मीडिया कैंपेन भी होंगे।
✨ निष्कर्ष
यह केवल एक तकनीकी कदम नहीं, बल्कि ऊर्जा नीति में सोच-समझकर बदलाव है—कम ऊर्जा, कम खर्च और हमारे ग्रह के लिए थोड़ी राहत। आपकी और कमल खान की कथनी में यह बदलाव एक वक़्त-समन्वित मानवता का प्रतीक है—जहां AC में थोड़ी सीमितता, बिल में बड़ी राहत और धरती में बड़ी हिफ़ाज़त होती है।
